प्रयागराज I प्रयागराज में 2025 में आयोजित होने वाला महाकुंभ आध्यात्मिकता, परंपरा और संस्कृति का अद्वितीय संगम होगा। संगम नगरी को इस बार 25 सेक्टर्स में विभाजित किया गया है, ताकि श्रद्धालुओं को सुविधा और सुरक्षा प्रदान की जा सके। महाकुंभ क्षेत्र को 5 प्रमुख हिस्सों में बांटा गया है: झूंसी, तेलियरगंज, संगम, परेड ग्राउंड और अरैल
घाटों की जानकारी
महाकुंभ में स्नान के लिए प्रमुख घाट बनाए गए हैं। इनमें संगम नोज घाट सबसे महत्वपूर्ण है। यहां हर घंटे दो लाख श्रद्धालु डुबकी लगा सकते हैं। अन्य महत्वपूर्ण घाटों में अरैल घाट, परेड घाट और झूंसी क्षेत्र में बनाए गए घाट शामिल हैं। घाटों की सुरक्षा के लिए बैरिकेडिंग, जल पुलिस और गोताखोरों की तैनाती की गई है।
प्रमुख मंदिर और धार्मिक स्थल
महाकुंभ में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए संगम के आसपास कई प्रमुख मंदिर हैं, जिनमें हनुमान मंदिर, अक्षयवट, बड़े हनुमान मंदिर और कालेश्वर महादेव मंदिर मुख्य आकर्षण हैं। संगम क्षेत्र से सटे मंदिरों तक जाने के लिए मार्ग को साफ और सुगम बनाया गया है।

सेक्टरों की व्यवस्था
प्रयागराज महाकुंभ को 25 सेक्टर्स में विभाजित किया गया है। हर सेक्टर में श्रद्धालुओं की सुविधाओं के लिए अस्थायी टेंट, शौचालय, चेंजिंग रूम, और पेयजल व्यवस्था की गई है। सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए सभी सेक्टर्स में सीसीटीवी कैमरे और पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है।
सुविधाओं का विस्तार
सरकार और प्रशासन ने इस बार महाकुंभ में आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया है। श्रद्धालुओं को डिजिटल मैप के जरिए घाटों और मंदिरों की जानकारी दी जा रही है। साथ ही 13 पुलों का निर्माण किया गया है, जो सेक्टर्स को जोड़ने का काम करेंगे।
महाकुंभ 2025 के आयोजन को ऐतिहासिक और भव्य बनाने के लिए सभी तैयारियां अंतिम चरण में हैं। श्रद्धालु गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती के त्रिवेणी संगम में डुबकी लगाकर पुण्य अर्जित करेंगे।
