शिमला। कांग्रेस पार्टी ने हिमाचल प्रदेश में पार्टी की पूरी इकाई को भंग कर दिया है, जिसमें राज्य कमेटी, सभी जिला कमेटी और ब्लॉक कमेटी शामिल हैं। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के रूप में प्रतिभा सिंह का कार्यकाल जारी रहेगा। पार्टी के इस फैसले को प्रदेश कांग्रेस में जारी आंतरिक गुटबाजी से जोड़कर देखा जा रहा है।
हिमाचल प्रदेश कांग्रेस की अध्यक्ष, प्रतिभा सिंह ने पार्टी नेतृत्व से मौजूदा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के पुनर्गठन का अनुरोध किया था। इसके लिए उन्होंने 28 अक्टूबर को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को चिट्ठी लिखी थी। इस चिट्ठी पर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के भी हस्ताक्षर थे, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि यह कदम दोनों नेताओं की सहमति से उठाया गया है।
जहां कांग्रेस नेतृत्व का कहना है कि यह निर्णय पार्टी के बेहतर भविष्य के लिए लिया गया है, वहीं सुक्खू गुट और अग्निहोत्री गुट अपने-अपने खेमे के नेता को प्रदेश अध्यक्ष बनाने के प्रयास में जुटे हुए हैं। इस स्थिति में यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि आने वाले दिनों में हिमाचल प्रदेश कांग्रेस में गुटबाजी की स्थिति और बढ़ती है या सुलझती है। हिमाचल प्रदेश में 2019 के लोकसभा चुनावों में कांग्रेस का प्रदर्शन बेहद खराब रहा था।
राज्य की चार लोकसभा सीटों में से एक भी सीट कांग्रेस नहीं जीत पाई। इसके अलावा, मंडी सीट पर कांग्रेस के उम्मीदवार विक्रमादित्य सिंह को बीजेपी की कंगना रनौत से हार का सामना करना पड़ा था। फरवरी 2024 में हुए राज्यसभा उपचुनाव में भी कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा था, जबकि पार्टी के पास बहुमत था। बीजेपी के हर्ष महाजन ने कांग्रेस के अभिषेक मनु सिंघवी को हराया। कुछ कांग्रेस विधायकों ने बीजेपी के पक्ष में मतदान किया था, जिससे यह परिणाम बदल गया।