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कार्तिक पूर्णिमा पर काशी में उमड़ा आस्‍था का जनसैलाब, सड़क से लेकर गलियों तक लगा जाम

वाराणसी: कार्तिक पूर्णिमा पर वाराणसी में लाखों श्रद्धालु गंगा स्नान के लिए उमड़े। भारी भीड़ के चलते पुलिस को गोदौलिया और गिरजाघर चौराहे पर लोगों को रोकना पड़ा। प्रशासन ने लाउडस्पीकर से अपील कर घाट खाली कराए। काशी विश्वनाथ मंदिर में भी भक्तों की लंबी कतारें लगीं, पूरी काशी आस्था में डूबी रही।
 
 

वाराणसी: कार्तिक पूर्णिमा के पावन अवसर पर बुधवार को काशी में आस्था का सैलाब उमड़ पड़ा। तड़के से ही गंगा घाटों पर श्रद्धालुओं की भीड़ इतनी बढ़ गई कि सुबह 9-10 बजे के करीब गोदौलिया और गिरजाघर चौराहे पर प्रशासन को पैदल श्रद्धालुओं को रोकना पड़ा। गंगा स्नान के लिए पहुंचे लाखों लोगों के कारण घाटों से लेकर गलियों तक जाम की स्थिति हो गई।

सुबह के समय दशाश्वमेध, अस्सी, राजेन्द्र प्रसाद और मणिकर्णिका घाटों पर कदम रखने की जगह नहीं थी। पुलिस और प्रशासन ने भीड़ नियंत्रण के लिए जगह-जगह बैरिकेडिंग की और लाउडस्पीकर से श्रद्धालुओं को घाट खाली करने की अपील की। अनुमान है कि करीब 5 लाख से अधिक श्रद्धालुओं ने गंगा में पुण्य स्नान किया।

काशी विश्वनाथ मंदिर में भी श्रद्धालुओं की लंबी कतार देखने को मिली। छत्ताद्वार, सरस्वती फाटक और कोतवालपुरा मार्ग पर भक्तों का हुजूम लगातार बढ़ता गया। पुलिस प्रशासन समेत सामाजिक संगठनों ने प्रमुख घाटों के पास शिविर लगाकर दूरदराज से आए श्रद्धालुओं की मदद में लगे हुए है।


राजघाट, दशाश्वमेध घाट समेत अन्य प्रमुख घाटों पर भीड़ को कंट्रोल करने के लिए एडिशनल पोस्ट पुलिसकर्मियों ने खुद भी कमान संभाली है। श्रद्धालुओं की सुरक्षा को देखते हुए सभी घाटों को 10 जोन, 18 सेक्टर और 34 सब सेक्टर में बांटा गया है। घाटों पर ड्रोन से भी निगरानी की जा रही है। कमांड सेंटर से भी घाटों की मॉनिटरिंग की जा रही है।

पुराणों के अनुसार, कार्तिक पूर्णिमा पर गंगा स्नान और दान करने से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है। इसी मान्यता के चलते बुधवार मध्यरात्रि से ही भक्त घाटों की ओर रुख करने लगे थे। भीड़ के बावजूद श्रद्धालुओं में उत्साह और भक्ति का भाव देखने लायक है।