नई दिल्ली I केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी 2025 को केंद्रीय बजट 2025 में शिक्षा क्षेत्र के लिए 6.65% की बजट वृद्धि की घोषणा की। इस बढ़ोतरी का उद्देश्य स्कूली और उच्च शिक्षा के क्षेत्र में सुधार और विकास को तेज करना है। इस बजट में शिक्षा के लिए आवंटित कुल राशि को 1.15 लाख करोड़ रुपये से बढ़ाकर 1.28 लाख करोड़ रुपये तक कर दिया गया है।
स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग
2024 में स्कूली शिक्षा के लिए कुल आवंटन ₹67,571.20 करोड़ था, जबकि इस वर्ष यह बढ़कर ₹78,572.10 करोड़ हो गया है, जो 6.65% की वृद्धि दर्शाता है। केंद्रीय विद्यालय संगठन को ₹9,503.84 करोड़ और नवोदय विद्यालय समिति को ₹5,305.23 करोड़ का आवंटन किया गया है। वहीं, नेशनल काउंसिल ऑफ एजुकेशन रिसर्च एंड ट्रेनिंग (NCERT) को ₹593.71 करोड़ और स्वायत्त निकायों को ₹15,430.58 करोड़ का आवंटन किया गया है।
उच्च शिक्षा विभाग
उच्च शिक्षा विभाग के लिए बजट ₹47,619.77 करोड़ से बढ़कर ₹50,077.95 करोड़ हो गया है। प्रधानमंत्री उच्चतर शिक्षा प्रोत्साहन योजना के लिए ₹1,560.00 करोड़ और प्रधानमंत्री रिसर्च फेलोशिप के लिए ₹600.00 करोड़ का बजट आवंटित किया गया है। इसके अतिरिक्त, डिजिटल इंडिया ई-लर्निंग के लिए ₹681.00 करोड़ और कृत्रिम बुद्धिमता में उत्कृष्टता केंद्रों के लिए ₹200.00 करोड़ का बजट भी निर्धारित किया गया है।
स्कूली और उच्च शिक्षा में सुधार की दिशा में कदम
सीतारमण ने कहा कि सरकार स्कूलों के बुनियादी ढांचे को मजबूत करने, शिक्षक प्रशिक्षण में सुधार और छात्रों के लिए डिजिटल शिक्षा सामग्री की उपलब्धता बढ़ाने के लिए कदम उठा रही है। इसके साथ ही उच्च शिक्षा के क्षेत्र में भी अनुसंधान को बढ़ावा देने के लिए फंडिंग में वृद्धि की गई है, जिससे शैक्षिक संस्थानों और छात्रों को अधिक अवसर मिलेंगे।