वाराणसी। महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ और इंडियन एकेडमी ऑफ हेल्थ साइकोलॉजी (आईएएचपी) के संयुक्त तत्वावधान में तीन दिवसीय अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन का शुभारंभ शुक्रवार को हुआ। सम्मेलन की थीम ‘इंट्रडिसीप्लिनरी इनसाइट्स इन हॉलिस्टिक हेल्थ केयर’ पर केंद्रित है। उद्घाटन समारोह में डॉ. एस.एल. वाया को लाइफटाइम अचीवमेंट और आईकॉन इन मेंटल हेल्थ अवार्ड से सम्मानित किया गया, जबकि डॉ. संजीव साहनी को अनीता मेमोरियल लेक्चर अवार्ड दिया गया।
डॉ. संजीव साहनी ने मानसिक स्वास्थ्य के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि मानसिक स्वास्थ्य केवल मन तक सीमित नहीं है, यह व्यक्ति के संपूर्ण व्यक्तित्व और शारीरिक स्वास्थ्य पर भी प्रभाव डालता है। डॉ. कविता नारायण, वरिष्ठ तकनीकी सलाहकार, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय, ने मानसिक स्वास्थ्य को लेकर सरकारी प्रयासों की जानकारी दी।
पहले दिन पांच वैज्ञानिक सत्र आयोजित किए गए, जिनमें कुल 75 शोध पत्र प्रस्तुत किए गए। इसके अलावा यंग साइंटिस्ट अवार्ड का विशेष सत्र और दो की-नोट एड्रेस, प्लेनरी सत्र, और सिम्पोजियम भी आयोजित किए गए।
कार्यक्रम की संयोजिका प्रो. शेफाली वर्मा ठकराल ने सम्मेलन का स्वागत भाषण दिया। मुख्य अतिथि डॉ. जूली गारलैंड (रीबर्थिंग ह्यूमैनिटी की सह-संस्थापक) और आईएएचपी के अध्यक्ष प्रो. आनंद कुमार समेत कई प्रतिष्ठित शिक्षाविद और विशेषज्ञ उपस्थित रहे। संचालन डॉ. विश्मिता पालीवाल और डॉ. जया मोहन ने किया, जबकि धन्यवाद ज्ञापन प्रो. के.के. सिंह ने दिया।

तीन दिवसीय सम्मेलन में मानसिक स्वास्थ्य, समग्र स्वास्थ्य देखभाल और इससे जुड़े विविध विषयों पर चर्चा जारी रहेगी। यह कार्यक्रम शोधकर्ताओं और विशेषज्ञों के लिए मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में नई संभावनाओं पर विचार-विमर्श का एक उत्कृष्ट मंच है।
