प्रयागराज। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज प्रयागराज के संगम क्षेत्र में महाकुंभ 2025 की सफलता और विश्व शांति के लिए कुंभ कलश का पूजन करेंगे। यह आयोजन “अमृत काल” के विशेष सिद्धि योग में हो रहा है, जिसे मानवता की अनमोल धरोहर और विश्व के सबसे बड़े सांस्कृतिक आयोजन के रूप में प्रस्तुत किया जाएगा। इस अवसर पर राज्यपाल आनंदी बेन पटेल और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी उपस्थित रहेंगे।
प्रधानमंत्री का कार्यक्रम और धार्मिक अनुष्ठान
प्रधानमंत्री मोदी दोपहर 12:15 बजे संगम पहुंचेंगे। धार्मिक अनुष्ठान की शुरुआत तीर्थ पुरोहित पं. दीपू मिश्रा और सात वैदिक आचार्यों द्वारा करवाई जाएगी। जेटी पर सबसे पहले गौरी-गणेश पूजन होगा। इसके बाद प्रधानमंत्री मां गंगा से महाकुंभ की सफलता और विश्व शांति की प्रार्थना करेंगे। तीन पवित्र नदियों—गंगा, यमुना और अदृश्य सरस्वती—के संगम पर गंगा आरती भी की जाएगी।
विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास
इस ऐतिहासिक आयोजन के दौरान प्रधानमंत्री 5500 करोड़ रुपये की लागत वाली विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास करेंगे। इनमें विशेष रूप से अक्षयवट और सरस्वती कूप कॉरिडोर का लोकार्पण शामिल है। ये परियोजनाएं प्रयागराज के धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व को और बढ़ाएंगी।
तैयारियों की समीक्षा और आयोजन की रूपरेखा
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को प्रधानमंत्री के कार्यक्रम की तैयारियों का निरीक्षण किया। उन्होंने सभा स्थल, पूजन स्थलों और संतों के साथ संवाद की व्यवस्थाओं की समीक्षा की।
प्रधानमंत्री का चार घंटे का विस्तृत कार्यक्रम
प्रधानमंत्री का कार्यक्रम लगभग चार घंटे का होगा। बमरौली एयरपोर्ट से वे हेलिकॉप्टर द्वारा अरैल पहुंचेंगे और फिर निषादराज क्रूज से किला घाट का रुख करेंगे। यहां संतों के साथ संवाद, गंगा पूजन और सभा को संबोधित करने की योजना है।
महाकुंभ 2025 की शुरुआत को भव्य और ऐतिहासिक बनाने के लिए यह आयोजन आयोजित किया गया है। यह न केवल भारत की सांस्कृतिक धरोहर को सहेजेगा, बल्कि इसे विश्व स्तर पर प्रदर्शित भी करेगा, जिससे भारत की आध्यात्मिक परंपराओं को नई पहचान मिलेगी।