नई दिल्ली I प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार की शाम को तीन दिवसीय Srilanka दौरे पर कोलंबो पहुंचे। उनकी आगवानी के लिए श्रीलंका के विदेश मंत्री विजिता हेराथ, स्वास्थ्य मंत्री नलिंदा जयतिस्सा और मत्स्य पालन मंत्री रामलिंगम चंद्रशेखर सहित पांच वरिष्ठ मंत्री एयरपोर्ट पर मौजूद थे। प्रधानमंत्री का स्वागत राजकीय सम्मान के साथ किया गया, जहां स्वतंत्रता चौक पर उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर और 21 तोपों की सलामी दी गई। यह श्रीलंका में उनका चौथा आधिकारिक दौरा है।

इस यात्रा के दौरान श्रीलंका सरकार ने पीएम मोदी को अपने सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘श्रीलंका मित्र विभूषण’ (Srilanka Mitr Vibhooshan) से नवाजा। यह सम्मान केवल विदेशी गणमान्य व्यक्तियों को दिया जाता है जिन्होंने श्रीलंका के साथ घनिष्ठ संबंध बनाए हैं। सम्मान ग्रहण करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यह केवल उनका नहीं बल्कि 140 करोड़ भारतीयों का सम्मान है। उन्होंने कहा कि यह भारत और श्रीलंका की अटूट मित्रता और साझे मूल्यों का प्रतीक है।

अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने Srilanka के साथ भारत के मजबूत आर्थिक और विकासात्मक सहयोग को रेखांकित किया। उन्होंने इंडियन ओरिजिन तमिल (IOT) समुदाय के लिए 10,000 करोड़ रुपये की आवासीय और सामाजिक योजनाओं की घोषणा की। इसके अलावा, डिजिटल कनेक्टिविटी, हरित ऊर्जा और इंफ्रास्ट्रक्चर जैसे क्षेत्रों में नए समझौतों पर हस्ताक्षर हुए। पीएम मोदी ने आश्वस्त किया कि श्रीलंका के किसानों को भारत की सीधी सहायता मिलेगी।

Srilanka दौरे की अहमियत इसलिए भी है क्योंकि तीन साल पहले यह द्वीपीय राष्ट्र बड़े आर्थिक संकट से जूझ रहा था, उस वक्त भारत ने श्रीलंका को 4.5 अरब अमेरिकी डॉलर की वित्तीय सहायता देकर संकट से उबरने में मदद की थी। भारत के इस सहयोग को वहां की सरकार और जनता ने सराहा है। इस बार प्रधानमंत्री मोदी और श्रीलंका के राष्ट्रपति दिसानायके 6 अप्रैल को अनुराधापुरा में महाबोधि मंदिर जाएंगे, जहां पूजा-अर्चना के साथ भारत की सहायता से तैयार दो नई परियोजनाओं का उद्घाटन भी किया जाएगा।