वाराणसी I ज्योतिष्पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती (Swami Avimukteshwaranand) ने गौ माता को राष्ट्र माता घोषित न करने पर भारतीय जनता पार्टी (BJP) से नाराजगी जताई है। उन्होंने कहा, “BJP ने हमारी उम्मीदें तोड़ दीं। अब अगर कोई गाय को काटेगा, उसे तलवार से काट दिया जाएगा।” शंकराचार्य ने सपा प्रमुख अखिलेश यादव पर भी तंज कसा और कहा कि गोबर की दुर्गंध की बात करने वाले अखिलेश ने यादव कुल को शर्मसार किया है।

गौ रक्षा के लिए सेना और इंस्टीट्यूट
शंकराचार्य (Swami Avimukteshwaranand) ने गौ रक्षा के लिए बड़ा प्लान बताया। उन्होंने कहा, “वाराणसी में एक इंस्टीट्यूट खोला जाएगा, जहां गाय पालकों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। गायों की कटान वाली जगहों को चिह्नित कर वहां धावा बोला जाएगा। इसके लिए एक सेना बनाई जाएगी, जो पहले नोटिस देगी। मैं खुद इस सेना के सबसे आगे रहूंगा।” उन्होंने दावा किया कि कोई भी राजनीतिक दल गौ माता के साथ नहीं है।
रामाधाम और गो संसद की योजना
गो प्रतिष्ठा आंदोलन के तहत शंकराचार्य (Swami Avimukteshwaranand) ने देश की 4123 विधानसभा क्षेत्रों में गो विधायकों की नियुक्ति और रामाधाम निर्माण की योजना का खुलासा किया। उन्होंने कहा, “हर रामाधाम में 108 रामा गायें होंगी। पहले चरण में साल के अंत तक 4123 रामाधाम बनेंगे। अगले चरणों में 3 लाख रामाधाम बनाकर सभी रामा गायों की सेवा का लक्ष्य है।”
यात्राओं और हिंदू गांव पर टिप्पणी
धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के हिंदू गांव और सनातन धर्म की यात्राओं पर Swami Avimukteshwaranand ने कहा, “यात्राओं से जनजागरण होता है, लेकिन उनका उद्देश्य स्पष्ट और रचनात्मक होना चाहिए। अगर यात्रा राजनीतिक प्रेरणा से हो रही है, तो धार्मिक फल नहीं मिलेगा। हिंदू गांव या राष्ट्र बनाने में कोई दिक्कत नहीं, लेकिन जो पहले हिंदू राष्ट्र की बात करते थे, अब गांव तक सिमट गए। इससे उनकी ताकत का अंदाजा लगता है।”
वक्फ बोर्ड बिल पर चुप्पी
वक्फ बोर्ड संशोधन बिल पर शंकराचार्य (Swami Avimukteshwaranand) ने कहा, “यह सरकार और मुसलमानों का मामला है। हमें इससे कोई लेना-देना नहीं। हम इसमें क्यों बोलें?” उनकी यह टिप्पणी बिल को लेकर उनके तटस्थ रुख को दर्शाती है।
अखिलेश पर तीखा हमला
अखिलेश यादव के गोबर पर दिए बयान पर शंकराचार्य (Swami Avimukteshwaranand) ने तल्ख टिप्पणी की। उन्होंने कहा, “अखिलेश को गोबर से दुर्गंध आती है, शायद भगवान से भूल हो गई कि उन्हें यादव कुल में जन्म दिया। अपने मूल से दुर्गंध की बात कर उन्होंने यादवों को शर्मसार किया है।”