Varanasi: काशी विश्वनाथ मंदिर में पुजारियों को मिलेगा राज्य कर्मचारी का दर्जा, वेतन में 3 गुना वृद्धि
Varanasi: श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर न्यास परिषद ने कर्मचारी सेवा नियमावली को मंजूरी दे दी है, जिसके तहत मंदिर के पुजारियों और कर्मचारियों को अब राज्य कर्मचारी का दर्जा प्राप्त होगा। इस निर्णय के साथ ही उनकी सैलरी में तीन गुना तक की वृद्धि होगी। वर्तमान में अर्चकों को 30 हजार रुपये तक वेतन मिल रहा था, जो अब अनुमोदन के बाद बढ़ जाएगा। यह फैसला 1983 में मंदिर के सरकारी अधिग्रहण के बाद चार दशकों में पहली बार अर्चकों के लिए महत्वपूर्ण कदम है, जिसके तहत उन्हें वेतन वृद्धि के साथ अन्य लाभ भी मिलेंगे।
न्यास परिषद की 108वीं बैठक में मीरजापुर के ककरही में मंदिर की 46 बीघा जमीन पर वैदिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान स्थापित करने का प्रस्ताव भी पारित किया गया। इसके अलावा, श्रीकाशी विश्वनाथ धाम Varanasi से शक्ति पीठ विशालाक्षी माता मंदिर तक श्रद्धालुओं के सुगम आवागमन के लिए भवन क्रय के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी गई।
सारनाथ के बेनीपुर स्थित संकट हरण हनुमान मंदिर के विकास और गोशाला के आधुनिकीकरण का निर्णय लिया गया। धाम की सुरक्षा को मजबूत करने के लिए कंट्रोल रूम और कैमरों का उन्नयन किया जाएगा। साथ ही, सुगम दर्शन व्यवस्था के तहत लड्डू प्रसाद और रुद्राक्ष माला प्रदान करने, संगम तीर्थ जल आदान-प्रदान योजना में सभी ज्योतिर्लिंगों को जोड़ने का प्रस्ताव भी स्वीकृत हुआ।
मंदिर में दर्शनार्थियों के परिचय पत्रों का समय-समय पर नवीनीकरण होगा, जो लंबे समय से रुका हुआ था। दंडी संन्यासियों को पूर्व की तरह रोज प्रसाद-भोजन और दक्षिणा दी जाएगी। इसके अतिरिक्त, Varanasi धाम में अत्याधुनिक डिजिटल संग्रहालय स्थापित करने का प्रस्ताव भी सर्वसम्मति से पारित हुआ।
न्यास ने धाम की व्यावसायिक गतिविधियों को बढ़ाने के लिए इम्पोरियम में रिक्त स्थलों का आवंटन और परिसर की परिसंपत्तियों के किराए की दरों का पुनरीक्षण करने का निर्णय लिया। कर्मचारियों के मानदेय को औचित्यपूर्ण बनाने और पूर्णकालिक कार्मिकों के लिए महंगाई भत्ते में वृद्धि को भी मंजूरी दी गई। परिषद अपनी विशेषज्ञता और एसओपी को कंसल्टेंसी सेवाओं के रूप में उपलब्ध कराएगी, जिससे आय वृद्धि के नए अवसर सृजित होंगे।
