Varanasi : स्वर्वेद महामंदिर धाम के अकाउंटेंट पर 2 करोड़ की हेराफेरी का आरोप, फर्जी बैंक पर्ची से खुली पोल
Varanasi : वाराणसी के स्वर्वेद महामंदिर धाम से जुड़ा एक बड़ा वित्तीय घोटाला सामने आया है। धाम के अकाउंटेंट और उसके भाई पर करीब 2 करोड़ रुपये के गबन और धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया है। चौबेपुर थाने में यह मुकदमा ट्रस्ट के सदस्य सुरेंद्र यादव की तहरीर पर दर्ज किया गया है। आरोप है कि अकाउंटेंट विवेक कुमार ने अपने भाई अभिषेक कुमार, जो HDFC बैंक में क्रेडिट मैनेजर हैं, के साथ मिलकर भक्तों द्वारा दिए गए दान के पैसे का दुरुपयोग किया।
फर्जी जमा पर्ची से खुला मामला
ट्रस्ट के सदस्य सुरेंद्र यादव ने बताया कि 23 सितंबर 2025 को 20,000 रुपये का चंदा बैंक में जमा करने भेजा गया था।
सिर्फ आधे घंटे बाद ही अकाउंटेंट विवेक ने बैंक की जमापर्ची भेज दी, जबकि धाम का खाता वाराणसी के लहुराबीर स्थित HDFC शाखा में है, जहां से इतनी जल्दी पर्ची आना संभव नहीं था। इस पर शक होने पर जांच शुरू की गई।
बैंक मैनेजर ने बताया, पर्चियां थीं फर्जी
सुरेंद्र यादव खुद बैंक पहुंचे और मैनेजर से जांच करवाई। बैंक मैनेजर ने बताया कि संबंधित पर्ची फर्जी थी, और जब पुरानी पर्चियों को जांचा गया तो वे भी फेक निकलीं, जिन पर जाली हस्ताक्षर थे। बैंक जांच में यह भी सामने आया कि विवेक ने पहले भी बैंक के एक कर्मचारी को रिश्वत देने की कोशिश की थी।
भाई की मदद से चल रहा था गबन का खेल
ट्रस्ट सदस्य के अनुसार, विवेक का छोटा भाई अभिषेक उसी बैंक की लहुराबीर शाखा में क्रेडिट मैनेजर है और स्वर्वेद मंदिर में ही रहता है। दोनों ने मिलकर फर्जी रसीदें बनाकर दान की रकम हड़पने की साजिश रची। अब तक करीब 2 करोड़ रुपये के गबन के प्रमाण सामने आए हैं। घटना की जानकारी मिलने के बाद अभिषेक मौके से फरार हो गया।
पुलिस ने दर्ज किया मुकदमा, जांच जारी
एसीपी सारनाथ विदुष सक्सेना ने बताया कि सुरेंद्र यादव की तहरीर के आधार पर चौबेपुर थाने में विवेक कुमार और अभिषेक कुमार के खिलाफ धोखाधड़ी, जालसाजी और गबन की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। मामला भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 419, 420, 467, 468, 471 और 409 में दर्ज हुआ है। फिलहाल पुलिस ने जांच शुरू कर दी है और आरोपियों की तलाश की जा रही है।
