नीतीश सरकार का बड़ा एलान: बिहार में शराबबंदी जारी रहेगी, कानून में बदलाव की उम्मीद खत्म
Patna: बिहार में शराबबंदी कानून में बदलाव की संभावनाओं को सरकार ने खारिज कर दिया। ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि शराबबंदी जारी रहेगी और इसे कमजोर करने या वापस लेने का सवाल नहीं। उन्होंने इसे सामाजिक सुधार का कदम बताया और सख्ती से पालन का आश्वासन दिया।
Patna : बिहार में शराबबंदी एक बार फिर राजनीतिक और प्रशासनिक चर्चाओं के केंद्र में है, लेकिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि राज्य में लागू शराबबंदी कानून में किसी भी तरह का बदलाव फिलहाल संभव नहीं है। सरकार ने दोहराया कि यह नीति आगे भी सख्ती और मजबूती के साथ जारी रहेगी।
ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि शराबबंदी को लेकर कुछ अफवाहों और भ्रम की स्थिति देखी जा रही थी, लेकिन सरकार ने साफ कर दिया है कि इस कानून को कमजोर करने या वापस लेने का कोई सवाल नहीं है। उन्होंने कहा कि शराबबंदी सामाजिक सुधार का मजबूत कदम है और सरकार इसके पालन को सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है।
कानून के क्रियान्वयन में कमियों को सुधारने के प्रयास
मंत्री ने स्वीकार किया कि कानून के लागू करने में कुछ जगहों पर गड़बड़ियां और कमियां सामने आई हैं, लेकिन राज्य सरकार निरंतर समीक्षा कर रही है। जहां भी त्रुटियां मिलीं, उन्हें दुरुस्त किया जाएगा।
ऊर्जा मंत्री ने बताया कि प्रतिबंध के बावजूद कई जिलों में अवैध शराब की बिक्री जारी है, और जहरीली शराब की घटनाएं भी सामने आती रही हैं। उन्होंने कहा कि सरकार इस चुनौती का मुकाबला करने के लिए कानून को और अधिक प्रभावी बनाने के कदम उठा रही है। इसके लिए:
- पुलिस और उत्पाद विभाग की जिम्मेदारियां बढ़ाई जाएंगी
- निगरानी तंत्र को और मजबूत किया जाएगा
- गांव स्तर पर चौकसी समितियां सक्रिय की जाएंगी
- अवैध शराब के खिलाफ जीरो-टॉलरेंस नीति लागू की जाएगी
- महिलाओं की सुरक्षा और सामाजिक सुधार से जुड़ी नीति
यादव ने कहा कि शराबबंदी का निर्णय महिलाओं की सुरक्षा, परिवार की आर्थिक हालत और सामाजिक संतुलन को बेहतर बनाने के लिए लिया गया था। उनके अनुसार, शराबबंदी लागू होने के बाद घरेलू हिंसा के मामलों में कमी आई है और परिवारों की बचत बढ़ी है।
कड़े रूप में जारी रहेगी शराबबंदी
सरकार का कहना है कि कानून में बदलाव की कोई आवश्यकता नहीं है और लागू करने में आने वाली बाधाओं को दूर किया जाएगा। यह स्पष्ट संकेत है कि शराबबंदी राज्य में न केवल जारी रहेगी, बल्कि और कठोर रूप में लागू होगी।
